देशभर में भगवान श्री राम के नाम पर सर्वाधिक गांव अस्तित्व में हैं
Thank you for reading this post, don't forget to subscribe!लेखक – डॉ भगवान प्रसाद उपाध्याय ( वरिष्ठ पत्रकार )
भगवान श्री राम न केवल भारतीय जनमानस की आस्था के प्रतीक हैं बल्कि देश में उनके नाम पर सर्वाधिक गांव का नामकरण भी हुआ है l वर्ष 2011 की जनगणना के अनुसार कुल 6774 60 गांव में से भगवान राम के नाम पर 3630 गांव स्थापित किए गए हैं जबकि श्री कृष्ण के नाम पर 3310 गांव देशभर में उपलब्ध हैंl इसी प्रकार राम के छोटे भाई भरत जी के नाम पर कुल 187 गांव हैं जबकि लक्ष्मण जी के नाम पर 160 गांव बताए गए हैं वही भक्त शिरोमणि हनुमान जी के नाम पर 370 के लगभग गांव पाए जाते हैं माता सीता के नाम पर 75 गांव बसे हुए हैं l
उपरोक्त आंकड़े कपोल कल्पित नहीं है बल्कि कानपुर से प्रकाशित सुप्रसिद्ध हिंदी साप्ताहिक दी मारल साप्ताहिक वर्ष 2015 के विशेषांक में उल्लिखित हैं l
गांवों के नामकरण की उपरोक्त अंत में विस्तार से जानकारी दी गई है l जानकारी दी गई है की देश भर में कुल 92 गांव ऐसे हैं जिनमें बंगाल वेस्ट बंगाल महाराष्ट्र पंजाब आंध्र प्रदेश के नाम शामिल हैं कुल 35 गांव केरल 17 गांव प्रयाग और 41 गांव काशी के नाम से अभिहित हैं 28 गांव आगरा एक सौ अट्ठासी गांव बिहार जिनमें 171 बिहार के बाहर स्थित है इसी प्रकार 47 गांव बद्री और 75 गांव का नामकरण केदार के नाम पर किए गए हैं जब देश में गांवों के नामकरण की बात आती है तो पता लगता है कि दशानन रावण के नाम पर भी 6 गांव बताए गए हैं और उनके पिता के नाम पर 3 गांव जो सभी बिहार में स्थित हैं अलबत्ता श्रीराम का साथ देने वाले रावण के भाई विभीषण के नाम पर देश में कोई गांव अभी तक स्थापित नहीं हुआ है कर्नाटक और आंध्र प्रदेश में कई ऐसे गांव बताए गए हैं जो अयोध्या के नाम पर हैं इनमें वे गांव भी शामिल हैं जो भगवान के कई नामों में से एक हैं जैसे कृष्ण के नाम पर 3310 गांव जो माधवपुर गोपालपुर गोविंदपुर श्याम नगर गोपाल नगर आदि सम्मिलित हैं गोवर्धन के नाम पर कुल 81 गांव स्थापित किए गए हैं इसी तरह राम के नाम पर जो गांव स्थापित हैं उसमें आगे पीछे राम लगा हुआ है और श्री राम के पर्यायवाची शब्दों के नाम पर भी बहुत से गांव बताए गए हैं सबसे अधिक गांव उत्तर प्रदेश में 1026 की संख्या बताई गई है असम में कुल 57 जबकि आंध्र प्रदेश में 55 गांव हैं महाभारत के युद्ध स्थान कुरुक्षेत्र की बात की जाए तो देश में इस नाम का केवल एक ही नगर स्थापित है जबकि उस काल के हिस्ट्री के नाम पर केवल 2 गांव मिलते हैं 385 गांव महाबली भीम के नाम से जुड़े हुए हैं जबकि 260 के लगभग अन्य पांडवों के नाम पर बस आए गए हैं उड़ीसा में एक गांव ऐसा भी है जो कुलपति भीष्म पितामह के नाम पर बसाया गया है राधा रानी के नाम पर देश भर में कुल 380 गांव बसई गए हैं उत्तर प्रदेश मध्य प्रदेश और उड़ीसा में स्थित हैं गांव के नामकरण से यह बात स्पष्ट हो जाती है कि हमारे देश के नागरिक इतिहास के प्रति कितने गंभीर हैं और हास्यास्पद बात तो यह हो जाती है जब इस देश में न्याय का मंदिर कहे जाने वाले न्यायालय भगवान राम के अस्तित्व पर प्रश्न चिन्ह लगाया जाता है कहना न होगा कि राम सदियों से संपूर्ण जनमानस की आस्था के केंद्र बिंदु रहे हैं और मानस में वर्णित विवरण के अनुसार राम द्रोही जीवन पर्यंत कभी पनप नहीं पाते हैं